हिंदी भाषा पर निबंध – Essay On Hindi Language

इस पोस्ट में हिंदी भाषा पर निबंध (Essay On Hindi Language) के बारे में चर्चा करेंगे। हिंदी हमारी राष्ट्रीय भाषा है। यह विशेष रूप से उत्तर भारत में जनता की भाषा है। यह हमारे देश में सामान्य संचार की भाषा है। यह हमारे देश की आधिकारिक भाषा है।

जो किसी अन्य भाषा को जानता है, वह विशेष रूप से उत्तर भारत में हिंदी में संवाद कर सकता है। दक्षिण भारतीय लोगों की मांग के कारण अंग्रेजी को सहयोगी राष्ट्रीय भाषा के रूप में बनाए रखा गया है, जो हिंदी को ठीक से नहीं समझते हैं।

उदाहरण 1. हिंदी भाषा पर निबंध – Essay On Hindi Language

हिंदी उत्तर की भाषा है। अब इसे सहयोगी राष्ट्रीय भाषा के रूप में घोषित किया गया है और इसे तब तक अनिश्चित काल तक बरकरार रखा जा रहा है जब तक हिंदी वास्तव में सच्ची राष्ट्रीय भाषा नहीं बन जाती।

हिंदी हमारी राष्ट्रीय भाषा है। 1947 में स्वतंत्रता की प्राप्ति के तुरंत बाद संविधान सभा द्वारा इसे अपनाया गया था। लेकिन भारत में लाखों लोग अभी भी हिंदी नहीं जानते हैं।

ऐसा इसलिए है क्योंकि इसमें संस्कृत के शब्दों को शामिल करके इसे कठिन बना दिया गया है। राष्ट्रभाषा के रूप में महात्मा गांधी और हिंदी के सुभाष चंद्र बोस की अवधारणा हिंदुस्तानी की थी- हिंदी और उर्दू का मिश्रण। लेकिन वर्षों से हम हिंदी को राष्ट्रभाषा का दर्जा नहीं दे पाए हैं।

हिंदी का सीखना कम महत्वपूर्ण माना जाता है क्योंकि विज्ञान और प्रौद्योगिकी, व्यवसाय और प्रशासन के सभी ज्ञान ज्यादातर अंग्रेजी में उपलब्ध हैं। हमारी आजादी के साठ साल से अधिक समय के बाद भी हिंदी अंग्रेजी का स्थान नहीं ले पाई है। उत्तरी भारत में विशेष रूप से दिल्ली जैसे बड़े शहरों में भी अंग्रेजी अधिक महत्व प्राप्त कर रही है।

सार्वजनिक स्थानों, कार्यालयों, स्कूलों और कॉलेजों में हिंदी बोलना कम स्थिति का संकेत माना जाता है। इस प्रवृत्ति को हतोत्साहित करने की आवश्यकता है यदि हम उत्सुक हैं कि हिंदी की स्थिति को ऊपर उठाना है। हिंदी को उसका उचित सम्मान दिया जाना चाहिए, और उसके बाद ही हम अपने राष्ट्रीय चरित्र को बरकरार रख सकते हैं।

हमें इसे अपने आधिकारिक उपयोग में बढ़ावा देना चाहिए। हमें इसका उपयोग अधिक से अधिक आधिकारिक और अनाधिकारिक रूप से करना चाहिए। पहले उदाहरण में हम सरकारी कार्यालयों, अदालतों और संसदीय मामलों में पत्राचार, भाषण और रिकॉर्ड में अंग्रेजी के उपयोग को प्रतिबंधित कर सकते हैं। इसके बजाय, यह देखा गया है कि कार्यालयों, अदालतों और संसद में अंग्रेजी ने लगभग पूरी तरह से हिंदी को बदल दिया है।

इसमें कोई संदेह नहीं है कि अंग्रेजी का अंतर्राष्ट्रीय महत्व हमें अंतरराष्ट्रीय बातचीत के लिए जोरदार तरीके से सीखने के लिए मजबूर करता है लेकिन इसे कहीं न कहीं रोकना होगा। यह ध्यान रखना होगा कि हमारी आने वाली पीढ़ियाँ भी हिंदी सीखेंगी क्योंकि यह महसूस किया जाता है कि यदि वर्तमान प्रवृत्ति बनी रही तो हिंदी समाज में स्थान पाने में असफल रहेगी।

इसे पीछे की सीट पर धकेला जाएगा। इसे गरीबों और नीच लोगों की भाषा बनने के लिए कम किया जाएगा और केवल पुस्तकालयों और संग्रहालयों की सीमा के भीतर प्रतिबंधित किया जाएगा। जैसे, हमें अपनी राष्ट्रभाषा को बचाने के लिए कदम उठाने होंगे। यह हमारी जिम्मेदारी है कि हम इसे महत्व के स्थान पर बहाल करें।

ऐसे स्कूल हैं जहां हिंदी बिल्कुल नहीं पढ़ाई जाती है। हर माता-पिता को गर्व होता है कि उसका बच्चा हिंदी से पहले अंग्रेजी बोलना शुरू कर देगा। हमें हिंदी को सरल बनाना होगा और इसे कठिन संस्कृतकृत संस्करणों से मुक्त करना होगा। हिंदी में विशेष रूप से बाहर खड़े छात्रों को कुछ प्रोत्साहन भी दिए जाने चाहिए ताकि हिंदी को बढ़ावा मिले। अन्यथा हमें हिंदी की विलुप्त होती भूमि को स्वयं के हिंदुस्तान में देखना होगा।

उदाहरण 2. हिंदी भाषा पर निबंध – Essay On Hindi Language

हिंदी का उदय संस्कृत भाषा से हुआ है। देवनागरी लिपि में हिंदी भाषा लिखी जाती है। यह दुनिया की सबसे अधिक बोली जाने वाली भाषाओं में से एक है। हिंदी भारत देश की राजभाषा भी है। भोजपुरी, मारवाड़ी इत्यादि भाषाएं हिंदी से ही निकली है। वर्तमान में हिंदी अपने मूल देश में ही अपना महत्व खोती जा रही है।

वर्तमान में दुनिया के लगभग हर कोने में हिंदी भाषी लोग मिल जाते है। भारत में मुख्य हिंदी भाषी राज्यों में राजस्थान, उत्तरप्रदेश, मध्यप्रदेश, दिल्ली, हिमाचल प्रदेश, बिहार इत्यादि आते है। वैसे दोस्तों हिंदी गुजरात, महाराष्ट्र, पंजाब, पश्चिम बंगाल इत्यादि राज्यों में भी बोली जाती है। इन राज्यों में हिंदी आम बोलचाल की प्रथम भाषा नही है। फिर भी हिंदी यहां पर समझी और बोली जाती है।

हिंदी भाषा भारत को एकता के सूत्र में बांधती है। भारत में हिंदी के अलावा तेलुगु, तमिल, मलयालम, गुजराती, मराठी, बंगाली, असमी, उर्दू इत्यादि भाषाएं बोली जाती है। इतनी सारी भाषाओं के बावजूद हिंदी का खास महत्व है। क्योंकि गैर हिंदी भाषी राज्यों के लोग हिंदी सीखते है। हिंदी उत्तर भारतीयों की मातृभाषा है।

दक्षिण भारतीयों के लिए हिंदी समझना मुश्किल होता है। इसका मुख्य कारण है कि हिंदी उनकी मातृभाषा नही है। दक्षिण भारत के लोग हिंदी सीखते है। भारत में विभिन्न भाषाओं का बोले जाना विविधता है। भारत में विविधता में ही एकता है।

हिंदी भाषा का महत्व

संस्कृत भाषा से हिंदी का उदगम हुआ है। यह विश्व की प्राचीन भाषा है। हिंदी भाषा में कालांतर में काफी बदलाव भी हुआ है। समय समय पर कई भाषाओं का प्रभाव हिंदी पर रहा है। वर्तमान में बोली जाने वाली हिंदी भाषा शुद्ध नही है। भारत में प्रान्त, राज्य, स्थान पर हिंदी बोली बदल जाती है।

हिंदी की विशेषता यह भी है कि दूसरी भाषाओं के शब्द भी इसमें आसानी से समाहित हो जाते है। जैसे कि “बटन” एक अंग्रेजी भाषा का शब्द है लेकिन हिंदी में आमतौर पर इस्तेमाल किया जाता है। हिंदी शब्द का उद्गम सिंधु शब्द से हुआ है। ईरान के लोग “स” शब्द को “ह” कहते थे। इससे सिंधु का हिन्दू हुआ और हिन्दू से भाषा “हिंदी” कहलाई।

हिंदी भाषा की ग्रामर बहुत सरल है जिसे समझना बहुत आसान है। हिंदी में जैसा लिखा होता है, वैसा ही बोला जाता है। किसी भी भाषा की सुंदरता, उसकी सरलता होती है। भाषा जितनी सरल होगी, उतनी ही सुंदर होगी। हिंदी की व्याकरण में सभी तरह के भावार्थ है। मानवीय विचारों को भाषा के रूप में प्रकट करने के लिए हिंदी में काफी शब्दावली है।

भारतीय हिंदी भाषा में वर्णों की संख्या 52 है। इनमें 11 स्वर और और 41 कि संख्या में व्यंजन है

  • हिंदी भाषा में स्वर – अ, आ, इ, ई, उ, ऊ, ए, ऐ, ओ, औ।
  • हिंदी भाषा में व्यंजन – क, ख, ग, घ …… क्ष, त्र, ज्ञ इत्यादि होते है।

उदाहरण 3. हिंदी भाषा पर निबंध – Essay On Hindi Language

हिंदी भाषा भारत के अलावा विदेशों में भी बोली जाती है। नेपाल, मॉरीशस, फिजी इत्यादि देशों में हिंदी अधिकतर बोली जाती है। मंदारिन और अंग्रेजी भाषा के बाद “हिंदी” तीसरी सबसे अधिक बोली जाने वाली भाषा है। वर्तमान में गूगल और फेसबुक जैसे सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म भी हिंदी कंटेंट को बढ़ावा दे रहे है। ऑनलाइन सर्वर पर लाखों की संख्या में हिंदी वेबसाइट है। आपका अपना नॉलेज डब्बा ब्लॉग भी हिंदी भाषा में है।

14 सितम्बर को हर वर्ष हिंदी दिवस मनाया जाता है। इस तिथि को हिंदी दिवस मनाने के पीछे का कारण 14 सितम्बर, 1949 में हिंदी को आधिकारिक राजभाषा के रूप में स्वीकार होना था। हिंदी दिवस के दिन विद्यालयों में कई कार्यक्रम आयोजित किये जाते है।

इस दिन हिंदी भाषा का महत्व पर चर्चा की जाती है। हिंदी भाषा पर निबंध, विचार और कविता लेखन होता है। हिंदी दिवस के अवसर पर भारत सरकार राजभाषा कीर्ति पुरस्कार देती है।

भारतवासियों को हिंदी भाषा का सम्मान करना चाहिए। हिंदी को सम्मान देना, हमारे लिए गर्व और स्वाभिमान का विषय है। भाषा किसी भी राष्ट्र के लिए उसकी सांस्कृतिक पहचान होती है। हिंदी भारत की पहचान और हमारी संस्कृति है।

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